
अयान मंडल, नर्सरी मालिक, पश्चिम बंगाल
रुद्रपुर। पंतनगर कृषि विश्वविद्यालय में चल रहे 117वें अखिल भारतीय किसान मेले में अद्भुत चीजें देखने को मिल रही हैं. पश्चिम बंगाल से आए किसान ने नीबू के ऐसे पेड़ के बारे में बताया जो ऑफ सीजन में भी पैदावार देता है. ये थाईलैंड के कुंभ काट नींबू की प्रजाति है. इसकी खूबियां जानकर किसान भी इसे लेने के लिए उत्साहित नजर आ रहे हैं.
पंतनगर किसान मेला: किसान अब नींबू की ऑफ सीजन में भी पैदावार ले सकते हैं. सर्दियों के महीने जनवरी, फरवरी और मार्च तक किसान नींबू की पैदावार कर अपनी आमदनी को बड़ा सकते हैं. गोविंद बल्लभ पंत कृषि विश्वविद्यालय द्वारा लगाए गए 117वें अखिल भारतीय किसान मेले में थाईलैंड की एक नींबू की प्रजाति को प्रदर्शनी में रखा गया है. नींबू की ये प्रजाति किसानों को काफी भा रही है.
थाईलैंड के नींबू के पौधे की डिमांड: थाईलैंड प्रजाति के कुंभ काट नींबू की खास बात यह है कि सर्दी के मौसम में पैदावार बढ़ाता है. नींबू की अन्य प्रजाति से जहां पर किसान ढाई से तीन साल बाद 30 किलो पैदावार लेते हैं, वहीं थाईलैंड के कुंभ काट नींबू के पेड़ से किसान 50 से 60 किलो का उत्पादन ले सकते हैं. पश्चिम बंगाल की एक नर्सरी के मालिक अयान मंडल ने बताया कि-
अयान मंडल, नर्सरी मालिक, पश्चिम बंगाल – पाकिस्तान के कुंभ काट नींबू की प्रजाति को थाईलैंड के वैज्ञानिकों ने डेवलप कर इसकी नई प्रजाति थाई कुंभ काट बनाया है. भारत में अब इसकी खेती कई राज्यों में की जा रही है. उन्होंने बताया कि पाकिस्तानी नींबू का छिलका पतला होने के कारण उसकी सेल्फ लाइफ न के बराबर है. थाई कुंभ काट नींबू की पौधे में सेल्फ लाइफ तीन महीने है. इतना ही नहीं हार्वेस्टिंग के बाद 10 से 15 दिन नींबू जस का तस रहेगा. दिल्ली मंडी में इन दिनों नींबू 120 से 150 रुपए किलो बिक रहा है.
थाईलैंड की नींबू की प्रजाति को लेकर किसान उत्साहित: उधम सिंह नगर जनपद के शक्तिफार्म के प्रगतिशील किसान किरन ने बताया कि वह एप्पल बेर की खेती कर रहे हैं. इसमें उन्हें काफी मुनाफा हुआ है. अब वह खेत में थाईलैंड प्रजाति के कुंभ काट नींबू की खेती करने जा रहे हैं. उन्हें उम्मीद है कि इस नींबू से भी वो अच्छी आमदनी प्राप्त करेंगे.
नींबू के उपयोग: नींबू स्वास्थ्य के लिए बहुत अच्छा माना जाता है. नींबू को पानी में निचोड़ कर पिया जाता है. नींबू से शिकंजी बनाई जाती है. नींबू से कई तरह के शर्बत बनाए जाते हैं. नींबू को सलाद में निचोड़कर भी प्रयाग में लाया जाता है. चटनी बनाने में भी नींबू का प्रयोग किया जाता है. नींबू का अचार हमारे देश में काफी लोकप्रिय है. नींबू का खट्टा, नमकीन और खट्टा-मीठा अचार बनाया जाता है.
नींबू के लाभ: ज्यादा वजन वाले लोग अपने वजन को कम करने के लिए नींबू पानी का प्रयोग करते हैं. नींबू इन्यून सिस्टम को मजबूत करता है. इसे शक्तिशाली एंटी ऑक्सीडेंट माना जाता है. विटामिन-सी की प्रचुरता के कारण ये इम्यून सिस्टम को मजबूत करता है. नींबू का प्रयोग त्वचा के लिए भी लाभदायक माना जाता है. नींबू पानी शरीर को हाइड्रेटेड रखने में भी मदद करता है.
हाल ही में हुए एक अध्ययन से पता चला है कि नींबू का रस ब्लड शुगर लेवल को काफी हद तक कम कर सकता है और इसे 35 मिनट से ज्यादा समय तक कंट्रोल कर सकता है. यह आश्चर्य की बात नहीं है क्योंकि नींबू को पहले से ही अमेरिकन डायबिटीज एसोसिएशन द्वारा भी डायबिटीज के लिए एक सुपर फूड माना जाता है.